भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) ने शुक्रवार को चालू वित्त वर्ष की पहली द्विमासिक मौद्रिक नीति समीक्षा में नीतिगत दर रेपो में कोई बदलाव नहीं किया और इसे 6.5 प्रतिशत पर बरकरार रखा। इस बीच, शेयर बाजार बिकवाली मोड में नजर आया। सेंसेक्स और निफ्टी, दोनों ही शुरुआती कारोबार में लाल निशान पर दिखे। सेंसेक्स 150 अंक तक टूटकर 73100 अंक के नीचे आ गया। वहीं, निफ्टी की बात करें तो यह भी सुस्त नजर आया।
इसके साथ ही केंद्रीय बैंक ने 2024-25 के लिए जीडीपी (सकल घरेलू उत्पाद) वृद्धि दर के सात प्रतिशत पर रहने का अनुमान जताया है। वहीं खुदरा मुद्रास्फीति के 2024-25 में 4.5 प्रतिशत रहने का अनुमान रखा गया है।
बता दें कि रेपो वह ब्याज दर है, जिसपर कॉमर्शियल बैंक अपनी तात्कालिक जरूरतों को पूरा करने के लिये केंद्रीय बैंक से कर्ज लेते हैं। आरबीआई मुद्रास्फीति को काबू में रखने के लिये इसका उपयोग करता है। रेपो दर को 6.5 प्रतिशत पर बरकरार रखने का मतलब है कि मकान, वाहन समेत विभिन्न कर्जों पर मासिक किस्त (ईएमआई) में बदलाव की संभावना कम है।
गुरुवार को बाजार में बना नया रिकॉर्ड
रिजर्व बैंक की मौद्रिक नीति समिति की बैठक से पहले शेयर बाजार ने एक नया रिकॉर्ड बनाया। बीते गुरुवार को शेयर बाजार के मानक सूचकांक- सेंसेक्स और निफ्टी में एक बार फिर बड़ी बढ़त दर्ज की गई और यह नए रिकॉर्ड स्तर पर पहुंच गए।
सेंसेक्स 350.81 अंक यानी 0.47 प्रतिशत बढ़कर 74,227 अंक के रिकॉर्ड स्तर पर बंद हुआ। कारोबार के दौरान सेंसेक्स 74,501.73 अंक तक पहुंच गया था। इसी तरह, नेशनल स्टॉक एक्सचेंज (एनएसई) का सूचकांक निफ्टी भी 80 अंक यानी 0.36 प्रतिशत की बढ़त के साथ 22,514.65 अंक पर ठहरा।