
Bihar Teacher Transfer-Posting : बिहार में सरकारी शिक्षकों की ट्रांसफर-पोस्टिंग ऑनलाइन होगी. इसके लिए आवेदन प्रक्रिया 7 नवंबर को शुरू होगी. शिक्षा विभाग के एसीएस एस सिद्धार्थ ने न्यूज18 से एक्सक्लूसिव बातचीत में यह जानकारी दी है.
पटना. बिहार में बीपीएससी और सक्षमता पास शिक्षकों के ट्रांसफर और पोस्टिंग को लेकर बड़ी खबर है. अपर मुख्य सचिव एस सिद्धार्थ ने न्यूज 18 के साथ एक्सक्लूसिव बातचीत में बताया कि ट्रांसफर और पोस्टिंग के लिए आवेदन प्रक्रिया 7 नवंबर से शुरू होगी. शिक्षकों को आवेदन करने के लिए 15 दिन का वक्त मिलेगा.
एस सिद्धार्थ ने बताया कि आवेदन प्रक्रिया 20 नवंबर से पहले पूरी कर ली जाएगी. जबकि ट्रांसफर और पोस्टिंग की प्रक्रिया 31 दिसंबर तक पूरी कर लेने का लक्ष्य है. शिक्षकों के ट्रांसफर पोस्टिंग की प्रक्रिया के लिए सॉफ्टवेयर का ट्रायल भी शुरू हो गया है.
उन्होंने बताया कि जिन शिक्षकों का तबादला होगा, वे 1 जनवरी से अपने नए स्कूल में पढ़ाना शुरू कर देंगे. उन्होंने यह भी बताया कि बीपीएससी और सक्षमता पास दोनों तरह के शिक्षक ट्रांसफर पोस्टिंग के लिए एक साथ ही अप्लाई करेंगे.
दिव्यांगों की अपने पंचायत में ही पोस्टिंग
अपर मुख्य सचिव एस सिद्धार्थ ने बताया कि दिव्यांग और असाध्य बीमारी से ग्रस्त शिक्षकों की पोस्टिंग उनके ही पंचायत में की जाएगी. जबकि महिला शिक्षकों को 10 पंचायतों का विकल्प मिलेगा. वहीं, पुरुष शिक्षकों को 10 अनुमंडल चुनने का विकल्प दिया जाएगा. उन्होंने बताया कि सक्षमता 1 की पोस्टिंग के बाद सक्षमता 2 की पोस्टिंग के लिए आवेदन शुरू होंगे. सक्षमता 2 की पोस्टिंग के लिए आवेदन अलग से लिए जाएंगे.
ट्रांसफर और पोस्टिंग में हुई गड़बड़ी तो…
बिहार में इस बार ट्रांसफर और पोस्टिंग शिक्षा विभाग के मुख्यालय से किए जाएंगे. इसके बाद की प्रक्रिया के लिए प्रत्येक जिले में डीएम की अध्यक्षता में एक स्थापना कमेटी बनाई गई है. ट्रांसफर और पोस्टिंग में कोई गड़बड़ी सामने आती है, तो मामले को जिला स्तर पर बनी इस कमेटी के सामने रखकर निपटारा किया जाएगा.
जैसे कि यदि किसी स्कूल में छात्रों की संख्या कम है और शिक्षकों की अधिक या फिर किसी स्कूल में छात्रों की संख्या अधिक है लेकिन शिक्षकों की कम, तो ऐसे मामलों का निपटरा जिला स्थापना कमेटी करेगी.