New SIM Card Rules: DoT ने यूजर्स के लिए नया सिम कार्ड खरीदने की प्रक्रिया को आसान बना दिया है। दूरसंचार विभाग ने सिम कार्ड खरीदने के नियमों में बदलाव किया है। इस बदलाव के तहत यूजर के दस्तावेजों के साथ छेड़छाड़ की संभावना खत्म हो गई है।
New SIM Card Rules: सिम कार्ड खरीदने के नियम बदल गए हैं। अब यूजर्स को एयरटेल, जियो, बीएसएनएल या वोडाफोन-आइडिया का नया सिम खरीदने के लिए ज्यादा टेंशन लेने की जरूरत नहीं है। दूरसंचार विभाग (DoT) ने अब इसे पूरी तरह पेपरलेस कर दिया है।
अगर आप अब नया सिम कार्ड खरीदना चाह रहे हैं या ऑपरेटर बदलने की योजना बना रहे हैं तो अब आपको टेलीकॉम कंपनियों के दफ्तरों के चक्कर नहीं लगाने पड़ेंगे। आप अपने सिम कार्ड के लिए जरूरी दस्तावेजों का वेरिफिकेशन खुद कर सकेंगे।
दूरसंचार विभाग (DoT) ने अपने आधिकारिक एक्स हैंडल से सिम कार्ड के लिए नए नियमों की घोषणा की है। साथ ही, यूजर्स को नया सिम कार्ड खरीदने से पहले कुछ बातों का ध्यान रखने को कहा गया है। दूरसंचार विभाग का यह नया नियम यूजर्स के निजी दस्तावेजों के साथ धोखाधड़ी को रोकने के लिए है। साथ ही, डिजिटल इंडिया के तहत पूरी तरह से पेपरलेस सिस्टम को लागू करना होगा।
Buying a new SIM? It’s now all paperless with e-KYC! 🧵
5 points we all should know – pic.twitter.com/do9sftRQ6o
— DoT India (@DoT_India) September 13, 2024
सिम कार्ड का नया नियम
दूरसंचार विभाग ने अपने पोस्ट में कहा कि एक बड़ा दूरसंचार सुधार करते हुए अब यूजर्स के लिए ई-केवाईसी (नो योर कस्टमर) के साथ-साथ सेल्फ केवाईसी भी शुरू की गई है।
यूजर्स को अपना नंबर प्रीपेड से पोस्टपेड में बदलने के लिए भी टेलीकॉम ऑपरेटर्स के पास नहीं जाना पड़ेगा। इसके लिए अब यूजर्स ओटीपी यानी वन टाइम पासवर्ड के आधार पर सेवा का लाभ उठा सकेंगे।
बिना किसी फोटोकॉपी या दस्तावेज को शेयर किए नया सिम कार्ड खरीद सकेंगे।
दूरसंचार विभाग की इस पूरी तरह से डिजिटल प्रक्रिया से यूजर्स के दस्तावेजों का गलत इस्तेमाल रोका जा सकेगा। अब किसी के नाम पर फर्जी सिम जारी नहीं हो सकेंगे।
आधार आधारित ई-केवाईसी और सेल्फ केवाईसी क्या है?
डीओटी ने केवाईसी सुधार में आधार आधारित ई-केवाईसी, सेल्फ केवाईसी और ओटीपी आधारित सेवा स्विच की सुविधा शुरू की है। नया सिम कार्ड खरीदने के लिए अब यूजर्स सिर्फ आधार कार्ड का इस्तेमाल कर सकेंगे। टेलीकॉम कंपनियां यूजर्स के दस्तावेजों के लिए आधार आधारित पेपरलेस वेरिफिकेशन फीचर का इस्तेमाल करेंगी। इसकी कीमत सिर्फ 1 रुपये (जीएसटी के साथ) होगी।
इतना ही नहीं, दूरसंचार विभाग ने यूजर्स के लिए सेल्फ केवाईसी की सुविधा भी शुरू की है, जिससे वे अपने केवाईसी को ऑनलाइन वेरिफाई कर सकेंगे। यूजर डिजिलॉकर का इस्तेमाल करके खुद ही अपने केवाईसी को वेरिफाई कर सकेंगे। अगर कोई यूजर अपने नंबर को प्रीपेड से पोस्टपेड या पोस्टपेड से प्रीपेड में बदलना चाहता है, तो उसे टेलीकॉम ऑपरेटर के ऑफिस जाने की जरूरत नहीं होगी। वह ओटीपी आधारित वेरिफिकेशन प्रक्रिया के जरिए कनेक्शन स्विच कर सकेगा।
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