भारत में मौसम ने एक बार फिर करवट ली है और भारतीय मौसम विभाग (IMD) ने आने वाले दिनों में देशभर में मौसम में भारी बदलाव की चेतावनी दी है।
सर्दियों का मौसम आ चुका है और इसके साथ ही उत्तर भारत में घना कोहरा, दक्षिण भारत और पूर्वोत्तर राज्यों में आंधी-तूफान और बारिश देखने को मिल सकती है। इस बीच मौसम विभाग ने 23 नवंबर से 28 नवंबर तक देशभर के लिए ताजा अलर्ट जारी किया है, जिसमें भारी बारिश, तूफान और बर्फबारी के संकेत दिए गए हैं।
चक्रवाती तूफान का खतरा
मौसम विभाग ने आने वाले दिनों में चक्रवाती तूफान बनने का अनुमान जताया है। इस समय पूर्वी भूमध्यरेखीय हिंद महासागर और उससे सटे दक्षिण अंडमान क्षेत्र में एक चक्रवाती परिसंचरण सक्रिय है, जो महासागर के मध्य क्षोभमंडल तक फैल गया है। इस परिसंचरण के प्रभाव से कम दबाव का क्षेत्र बनने की संभावना है। मौसम विभाग का कहना है कि यह तूफान पश्चिम-उत्तरपश्चिम दिशा में बढ़ते हुए दक्षिण बंगाल की खाड़ी की ओर बढ़ सकता है।
मौसम विभाग ने कहा कि अगले 2-3 दिनों में दक्षिण बंगाल की खाड़ी, मन्नार की खाड़ी, अंडमान सागर और तटीय इलाकों में तूफानी हवाएं और भारी बारिश हो सकती है। इस चक्रवाती तूफान के प्रभाव के कारण मछुआरों को समुद्र में न जाने की सलाह दी गई है, खासकर तमिलनाडु, केरल, आंध्र प्रदेश और अंडमान-निकोबार द्वीप समूह के आसपास के इलाकों में। हवाओं की गति 35 से 55 किलोमीटर प्रति घंटे तक हो सकती है, जिससे समुद्री यात्रा में जोखिम पैदा हो सकता है।
इन राज्यों में बारिश और तूफानी हवाओं का अलर्ट
मौसम विभाग के अनुसार चक्रवाती तूफान के असर से दक्षिण भारत और पूर्वोत्तर भारत के कई राज्यों में भारी बारिश हो सकती है। 23 से 28 नवंबर के लिए जारी मौसम अलर्ट के अनुसार केरल, तमिलनाडु, आंध्र प्रदेश, पुडुचेरी, अंडमान-निकोबार द्वीप समूह, असम, मेघालय, नागालैंड, मणिपुर, मिजोरम, त्रिपुरा और कुछ अन्य इलाकों में गरज के साथ बारिश और बिजली गिर सकती है।
कुछ स्थानों पर भारी बारिश की भी संभावना है, तथा मौसम विभाग ने इन क्षेत्रों के नागरिकों से सतर्क रहने की अपील की है। इसके साथ ही दक्षिणी राज्यों में तूफानी हवाएं चलने की संभावना है, जिनकी गति 35-45 किलोमीटर प्रति घंटे तक हो सकती है। मौसम विभाग ने मछुआरों को समुद्र से दूर रहने की सलाह दी है, तथा इन क्षेत्रों में सामान्य जनजीवन प्रभावित हो सकता है।
उत्तर भारत में बढ़ेगी ठंड और कोहरा
इस सप्ताह उत्तर भारत में मौसम शुष्क रहेगा, लेकिन कोहरा छाए रहने तथा ठंड बढ़ने की संभावना है। पंजाब, हरियाणा, उत्तर प्रदेश, बिहार, मध्य प्रदेश, झारखंड, हिमाचल प्रदेश तथा चंडीगढ़ के इलाकों में 30 नवंबर तक सुबह और शाम को घना कोहरा छाए रहने की संभावना है।
दिल्ली-एनसीआर समेत अन्य शहरों में भी सुबह के समय कोहरा बढ़ सकता है, जिससे दृश्यता प्रभावित हो सकती है। हालांकि, दिन में धूप खिलने से कुछ राहत मिल सकती है, लेकिन तापमान गिरने से ठंड का असर बना रहेगा। दिल्ली में भी कोहरा बढ़ने से ठंड का अहसास और बढ़ सकता है। मौसम विभाग के अनुसार, अगले कुछ दिनों में उत्तर भारत में ठंड बढ़ेगी तथा शीतलहर का असर महसूस किया जा सकता है। कश्मीर और हिमाचल में बर्फबारी का असर
कश्मीर, हिमाचल प्रदेश और उत्तराखंड के पहाड़ी इलाकों में बर्फबारी शुरू हो गई है, जिससे ठंड में और तेजी से इजाफा हो सकता है। जम्मू-कश्मीर में इस सप्ताह तापमान शून्य से नीचे चला गया है और शुक्रवार को श्रीनगर में तापमान में 0.4 डिग्री सेल्सियस की गिरावट दर्ज की गई।
जम्मू-कश्मीर के ऊंचाई वाले इलाकों में हल्की बर्फबारी और बारिश हो सकती है और आने वाले दिनों में ठंड और बढ़ने की संभावना है। कश्मीर में शीतलहर का असर बढ़ने से लोगों को और अधिक सतर्क रहने की जरूरत होगी। पहाड़ी इलाकों में बर्फबारी के कारण ठंड और बर्फबारी के कारण सड़क पर यात्रा करने में दिक्कतें हो सकती हैं।
भारत में ठंड और शीतलहर
उत्तर भारत और पहाड़ी इलाकों में बर्फबारी और ठंड के कारण शीतलहर का असर बढ़ने की संभावना है। हिमाचल प्रदेश और उत्तराखंड में बर्फबारी से ठंड और बढ़ सकती है। साथ ही, कश्मीर घाटी, गुलमर्ग, पहलगाम और जम्मू-कश्मीर के अन्य ऊंचाई वाले इलाकों में बर्फबारी के कारण तापमान में और गिरावट आ सकती है। इस दौरान ठंडी हवाओं के कारण मैदानी इलाकों में भी ठंड का असर ज्यादा रहेगा।
भारतीय मौसम विभाग का कहना है कि इस समय मौसम में बड़े बदलाव देखने को मिल रहे हैं और देशभर के विभिन्न इलाकों में तूफान, भारी बारिश, बर्फबारी और ठंड का असर बढ़ने वाला है। खासकर, दक्षिण भारत और पूर्वोत्तर भारत में तूफान के साथ बारिश और वज्रपात का खतरा है, जबकि उत्तर भारत में ठंड और कोहरे के कारण ठंड बढ़ने का अनुमान है। पहाड़ी इलाकों में बर्फबारी से ठंड और बढ़ सकती है। मौसम विभाग ने सभी नागरिकों से सतर्क रहने की अपील की है और सलाह दी है कि वे तूफानी मौसम में यात्रा करने से बचें और मौसम अलर्ट का पालन करें।